ठंड का कहर 1 हिंदी कहानी स्टोरी मोरल Thand Ka Kahar Hindi Kahaniyan Thand ka Kahar @MotuxAnkit_1M #kahani #ठंड का कर #story #kahani #kahaniya #moralstories दिसंबर का महीना था। रात भर ठंडी हवाएं चलती रहीं। पूरा गांव बर्फीली ओस की चादर में लिपटा हुआ था। खेतों के ऊपर धुंध की मोटी परत छाई थी। मुर्गे भी जैसे आज देर से बांग देने का मन बना चुके थे। गांव के किनारे एक छोटी सी झोपड़ी थी — टूटी हुई छप्पर से हवा अंदर आ जाती थी। अंदर एक आदमी फटे कम्बल में लिपटा हुआ करवटें बदल रहा था। वो था गुड्डन — एक गरीब मज़दूर। उम्र करीब तीस साल, चेहरे पर मेहनत की लकीरें साफ दिखती थीं। पास में उसकी बीवी सीमा राख में हाथ सेंक रही थी, और चूल्हे पर पानी गरम करने की कोशिश कर रही थी।